Tuesday, October 3, 2023
Bilaspur/Hamirpur/Una*सायर मुबारक Renu Renu*

*सायर मुबारक Renu Renu*

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सायर मुबारक

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सायर और लोहड़ी को सगी बहने माना जाता है हिमाचल की कथाओं के अनुसार लोहड़ी और सायर दो सगी बहने थी सायर की शादी गरीब घर में हुई, इसलिए सितम्बर महीने में मनाते है और उसके पकवान स्वादिस्ट तो होते है लेकिन अधिक महंगे नही होते जबकि लोहड़ी की शादी अमीर घर में हुई थी इसलिए शायद देसी घी, चिवड़ा, मूंगफली, खिचड़ी आदि के कई मिठाईयों के साथ इस त्यौहार को खूब धूमधाम से मनाया जाता है जिसकी शुरुआत एक महिना पहले ही लुकड़ीयो के साथ हो जाती है

सायर वाले दिन सुबह 4 बजे उठ कर पुजा की जाती है फिर दादा दादी के पैर बंदी के आशीर्वाद लेना उसके बाद परिवार के सभी बड़ों से आशीर्वाद लेना फिर गांव में घर घर जाकर सभी से आशीर्वाद लेना उस दिन छः-सात पकवान बनाए जाते हैं जिनमें पतरोड़े, पकोड़ू और भटूरू जरूर होते हैं। इसके अलावा खीर, गुलगुले, खट्टा पेठा आदि पकवान भी बनाए जाते हैं। ये पकवान एक थाली में सजाकर आस-पड़ोस और रिश्तेदारों में बांटे जाते हैं और उनके घर से भी पकवान लिए जाते हैं। अगले वर्ष अच्छी फसल के लिए प्रार्थना की जाती है ….

Renu sharma sub editor tct

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