*सोलन_विधानसभा_चुनाव_बहुत_ही_दिलचस्प_होता_जा_रहा_है*
10 नवम्बर 2022- (#सोलन_विधानसभा_चुनाव_बहुत_ही_दिलचस्प_होता_जा_रहा_है)-
सोलन विधानसभा का चुनाव बहुत ही दिलचस्प बन गया है। यहां डॉक्टर राजेश कश्यप और कर्नल धनीराम शांडिल मे कांटे की टक्कर बताई जा रही है। पिछले चुनाव मे भी यहां पर कांटे का मुकाबला देखने को मिला था। जब डॉक्टर राजेश कश्यप बहुत ही थोड़े मतों से पराजित हो गए थे, लेकिन इस बार डॉक्टर कश्यप की पिछले पांच साल से लगातार क्षेत्र मे सक्रियता काम आ रही है। वह पराजित होने के बावजूद सोलन के विकास और आम लोगो के काम के लिए सक्रिया रहे। दोनो प्रतिद्वंदी आपस मे नजदीकी रिश्तेदार है। दोनो ही पढ़े-लिखे है। जहां कश्यप मेडिसिन के डॉक्टर है वंही कर्नल धनीराम शांडिल ने पी एच डी कर डॉक्टरेट डिग्री हासिल की है। यह भी उल्लेखनीय है कि कर्नल धनीराम शांडिल हिमाचल के सबसे उम्रदराज उम्मीदवार है। वंही हिमाचल के सबसे छोटे प्रत्याशी गगरेट के चेतन्य शर्मा है। यह भी संयोग की बात है कि सबसे उम्रदराज और सबसे छोटे प्रत्याशी कांग्रेस से ही तालुक रखते है।
इस बार लोगो को उम्मीद थी कि 83 वर्षिय कर्नल धनीराम शांडिल स्वयं ही अपनी उम्र के चलते चुनावी राजनीति को अलविदा कह देंगे, लेकिन इसके विपरीत उन्होने श्रीमती सोनिया गांधी से मिल अपने टिकट की पैरवी कर टिकट प्राप्त किया। मेरे मन मे कर्नल साहब का बहुत सम्मान है, लेकिन मेरे विचार मे राजनीति मे भी सेवानिवृत्ति का प्रावधान होना चाहिए। जहां राज्य सरकार के अधिकारी और कर्मचारियों की सेवानिवृत्ति की उम्र 58 वर्ष है तो केन्द्रीय कर्मचारियों के लिए यह सीमा 60 वर्ष है। इसी प्रकार हाईकोर्ट के न्यायाधीशों की सेवानिवृत्ति 62 वर्ष से 65 वर्ष रखी गई है। वैसे तो अब यह समय की मांग है कि चुनाव सुधार करते हुए कानून मे परिवर्तन होना चाहिए। विधायक और सासंद की न्यूनतम शिक्षा और अधिकतम उम्र तय होनी चाहिए।
स्मरण रहे भाजपा ने अपनी पार्टी मे सिद्धांत रूप से यह तय कर रखा है कि 75 वर्ष से अधिक आयु के लोगो को चुनावी राजनीति मे निरुत्साहित किया जाएगा, लेकिन कांग्रेस मे ऐसा कोई नियम या सिद्धांत नहीं है। अभी हाल ही मे उनके नवनिर्वाचित अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे भी 80 पार कर चुके है। अब कर्नल शांडिल स्वयं सेवानिवृत्ति लेने के लिए तैयार नहीं है। कांग्रेस का ऐसा कोई नियम नहीं है। अभी अधिकतम उम्र के लिए कोई कानून भी बना नहीं है, फिर अब कर्नल साहब को सेवानिवृत्त करने के लिए सोलन के मतदाताओं को ही आगे आना होगा। उन्हे अपने मत का प्रयोग इस प्रकार करना होगा कि उनकी सेवानिवृत्ति हो जाए। वैसे यह भी आपके लिए दिलचस्प सूचना होगी कि कर्नल साहब को सेवानिवृत्ति के बाद तीन पैंशन लेने की पात्रता होगी। मेरे विचार मे एक व्यक्ति एक पैंशन का सिध्दांत ही न्यायोचित है।
#आज_इतना_ही कल फिर नई कड़ी के साथ मिलते है।